Monday, 17 July 2017

सम्मानपूर्वक जीवन के लिये बच्चों को पढ़ाई के साथ कौशल प्रशिक्षण से जोड़ें

सम्मानपूर्वक जीवन के लिये बच्चों को पढ़ाई के साथ कौशल प्रशिक्षण से जोड़ें

महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री  ललिता यादव ने कहा है कि देह व्यापार में संलग्न परिवारों के बच्चों को सम्मान पूर्वक जीवन देने के लिए पढ़ाई के साथ कौशल प्रशिक्षण से जोड़कर रोजगार के लिए प्रेरित करने की आवश्यकता है।  यादव ने आज जबाली योजना की समीक्षा करते हुए बताया कि इस योजना में स्वैच्छिक संस्थाओं के माध्यम से इस कुप्रथा को समूल नष्ट करने और उनके बच्चों के कल्याण के लिए राज्य शासन द्वारा सतत प्रयास किए जा रहे हैं।

 यादव ने कहा कि बच्चों की शिक्षा के लिए आश्रम शाला की व्यवस्थाओं को दुरस्त किया जाये। जिन आश्रम शालाओं में कक्षा 1 से 5 वीं तक की व्यवस्था है, वहाँ पर इसे बढ़ाकर 12वीं कक्षा तक किया जाये। इसके लिए आवश्यक प्रस्ताव तत्काल भेजें।  यादव ने दसवीं कक्षा उत्तीर्ण बालिकाओं के लिये कौशल विकास प्रशिक्षण की व्यवस्था करने के निर्देश दिये।

राज्य मंत्री ने बैठक में कहा कि प्रावधानुसार इन बच्चों को अनुरक्षण गृह में 25 वर्ष तक की आयु तक रखा जा सकता है। अत: उन्हें अनुरक्षण गृह में ही रखकर स्कूलों में पढ़ने के लिए भेजने तथा उच्च शिक्षा की व्यवस्था का भी ध्यान रखा जाये।

इस अवसर पर आयुक्त महिला सशक्तिकरण जयश्री कियावत तथा स्वैच्छिक संस्थाओं के प्रतिनिधि उपस्थित थे।

No comments:
Write comments

Recommended Posts × +